2023-05-17 02:29:51
प्रशासक समिति
जय सत्य सनातन
आज की हिंदी तिथि
युगाब्द-५१२५
विक्रम संवत-२०८०
तिथि - त्रयोदशी रात्रि 10:28 तक तत्पश्चात चतुर्दशी
https://www.prashasaksamiti.com/2023/05/blog-post_606.html
दिनांक - 17 मई 2023
दिन - बुधवार*
शक संवत् - 1945
अयन - उत्तरायण
ऋतु - ग्रीष्म
मास - ज्येष्ठ
पक्ष - कृष्ण
नक्षत्र - रेवती सुबह 07:39 तक तत्पश्चात अश्विनी
योग - आयुष्मान रात्रि 09:18 तक तत्पश्चात सौभाग्य
राहु काल - दोपहर 12:36 से 02:16 तक
सूर्योदय - 05:58
सूर्यास्त - 07:14
दिशा शूल - उत्तर दिशा में
ब्राह्ममुहूर्त - प्रातः 04:32 से 05:15 तक
निशिता मुहूर्त - रात्रि 12:14 से 12:57 तक
व्रत पर्व विवरण - मासिक शिवरात्रि, प्रदोष व्रत
विशेष - त्रयोदशी को बैंगन खाने से पुत्र का नाश होता है । (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)
मासिक शिवरात्रि : 17 मई 2023
कर्ज मुक्ति हेतु -
हर मासिक शिवरात्रि को सूर्यास्त के समय घर में बैठकर अपने गुरुदेव का स्मरण करके शिवजी का स्मरण करते-करते ये 17 मंत्र बोलें ! जिनके सिर पर कर्जा ज्यादा हो वो शिवजी के मंदिर में जाकर दिया जलाकर ये 17 मंत्र बोलें ! इससे कर्जे से मुक्ति मिलेगी ।
1) ॐ शिवाय नमः
2) ॐ सर्वात्मने नमः
3) ॐ त्रिनेत्राय नमः
4) ॐ हराय नमः
5) ॐ इन्द्रमुखाय नमः
6) ॐ श्रीकंठाय नमः
7) ॐ सद्योजाताय नमः
8) ॐ वामदेवाय नमः
9) ॐ अघोरहृदयाय नम:
10) ॐ तत्पुरुषाय नमः
11) ॐ ईशानाय नमः
12) ॐ अनंतधर्माय नमः
13) ॐ ज्ञानभूताय नमः
14) ॐ अनंतवैराग्यसिंघाय नमः
15) ॐ प्रधानाय नमः
16) ॐ व्योमात्मने नमः
17) ॐ व्यूक्तकेशात्मरूपाय नम:
चेहरे की झुर्रियां व चमक बढ़ाने के लिए
चेहरे पर बुढ़ापे की झुर्रियां पड़ गयी हों तो कड़वे बादाम का तेल, सोने से पहले जरा चेहरे पर रगड़ दो तो बुढ़ापे की झुर्रियों में फायदा होता है ।
सरसों के तेल में दही मिलाकर मलें तो भी चेहरे की झुर्रियां व चेहरे का सूखापन हट जायेगा ।
आँख के नीचे झुर्रियां पड़ गयी हों तो दूध की ताजी मलाई वहां हलके-हलके मलने से झुर्रियां ठीक होने लगती हैं । अथवा शहद व नींबू का रस मलें ।
नींबू का रस व ग्लिसरीन मिलाकर चेहरे पर मलें तो चेहरे की चमक बढ़ेगी ।
मेधावी व निरोगी संतान हेतु अनुभूत प्रयोग
गर्भवती महिला रोज श्रद्धापूर्वक गाय का पूजन कर उसकी कम-से-कम एक परिक्रमा करे, उसे अपने हाथ से रोटी तथा गुड़ खिलाये और सुबह-शाम गोदुग्ध का पान करे तो निश्चित ही आनेवाली संतान फुर्तीली, सशक्त, मेधावी एवं निरोगी होगी और प्रसव भी सहज ढंग से होगा ।
प्रसव-पीड़ा कम होगी । उपरोक्त लाभों के लिए यह प्रयोग प्रतिदिन करना अनिवार्य है । प्रतिदिन सम्भव न हो तो जितने दिन सम्भव हो करे, तब भी लाभ होगा ।
जय श्री राम
हिन्दू राष्ट्र भारत
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