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Namaskar Sir mera yeh prashan hai ki koi aisi sadhna ya vidya | Sahaj Kriyayog Sadhna Adhyatmik Trust

Namaskar Sir
mera yeh prashan hai ki koi aisi sadhna ya vidya hai jiskey dwara hum dusrey lok main baithey ucch koti sadhakon aur guruon sey sampark kar sakein.aur unhsey vidya praapt kar sakein.

Aur kripya sukshm sharir sadhna key barey main batayein kya sukhm sharir yatra aur aaj kal joh astral travel chal rahaa hai jiskey barey main west main bhi kaafi bolaa jaa rahaa hai aur iski online classes ho rahi hai.
kya yeh ek hi cheez hai kya in tareekon dwara hum sukshma sharir sey divya lokon ki yatra aur unkey praniyon sey sampark sthapit kar saktey hain?? Ki yeh matr ek Kalpana hai?? Kripya is vishya main vistaar purwak batayiye

उत्तर –
लोक के विषय में मैंने पूर्ण जानकारी श्री हनुमान चालीसा आध्यात्मिक व्याख्या पुस्तक में दी है कुछ ही समय में वह उपलब्ध हो जाएगी उसका लेख कार्य पूर्ण हो चूका है उसका प्रिंटिंग कार्य अभी होना शेष है.


तिहूँ लोक - इस मानव शरीर को 14 भुवन एवं 3 लोक में विभाजित किया गया है जिसमें 3 लोक हैं- पाताल, स्वर्ग , भू (मृत्यु).

पाताल लोक को ही भगवद गीता में धर्मक्षेत्र - कुरुक्षेत्र से भी दर्शाया गया है।

पाताल लोक - नाभि से पैर के तल तक ,

भू लोक - नाभि से कंठ तक , स्वर्ग लोक - कंठ से सहस्त्रार तक।

स्वर्ग एवं पाताल को भुवन में विभाजित किया गया है - 7 स्वर्ग , 7 पाताल।

7 पाताल - अतल, वितल, सुतल, तलातल, महातल, रसातल और पाताल

7 स्वर्ग - भूलोक, भुवर्लोक, स्वर्लोक, महर्लोक, जनलोक, तपोलोक, सत्यलोक

समस्त लोक को धारण करने वाला यह शरीर ही ब्रह्मांड है.
इस माध्यम से आप समझ सकते हैं की तीनो लोक क्या है और यदि आप थोडा सा गहन चिंतन करेंगे तो आपके अन्य प्रश्न के उत्तर भी इसी में आपको मिल जायेंगे

मेरे द्वारा प्रश्नोत्तरी में पूर्व निवेदन था की एक प्रश्न में अनेक प्रश्न ना जोड़ें इसलिए आज मैं आपके एक ही प्रश्न का उत्तर दे रहा हूँ आप शेष प्रश्न आने वाली प्रश्नोत्तरी में पूछें.