जान दे सकता है क्या साथ निभाने के लिए हौसला है तो बढ़ा हाथ मिलाने के लिए ज़ख़्म-ए-दिल इसलिए चेहरे पे सजा रक्खा है कुछ तमाशा तो हो दुनिया को दिखाने के लिए इक झलक देख लें तुझको तो चले जाएंगे कौन आया है यहां उम्र बिताने के लिए - शकील आज़मी Join ~ @zindagi_gulzar_h_0007 4.3K views16:43